भारतीय मूल के काश पटेल अमेरिका के संघीय जांच ब्यूरो (FBI) के नए निदेशक बन गए हैं। अमेरिकी सीनेट ने 20 फरवरी, 2025 को 51-49 के मामूली बहुमत से उनकी नियुक्ति को मंजूरी दी। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के करीबी सहयोगी माने जाने वाले काश पटेल को ट्रंप ने देश की इस शीर्ष जांच एजेंसी का नेतृत्व करने के लिए चुना था। उनकी नियुक्ति की पुष्टि के बाद, पटेल ने कहा कि वह FBI को पारदर्शी, जवाबदेह और न्याय के लिए प्रतिबद्ध बनाने के लिए काम करेंगे।
काश पटेल का जन्म 25 फरवरी, 1980 को न्यूयॉर्क में गुजराती माता-पिता के घर हुआ था। उन्होंने रिचमंड विश्वविद्यालय से स्नातक और पेस यूनिवर्सिटी स्कूल ऑफ लॉ से कानूनी डिग्री हासिल की। अपने करियर की शुरुआत में, उन्होंने एक वकील के रूप में काम किया और हत्या, नशीले पदार्थों की तस्करी और वित्तीय अपराधों जैसे मामलों में राज्य और संघीय अदालतों में पैरवी की। ट्रंप के पहले कार्यकाल में उन्होंने राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद और रक्षा मंत्रालय जैसे महत्वपूर्ण पदों पर भी काम किया था।
पटेल की नियुक्ति को लेकर डेमोक्रेट सीनेटरों ने विरोध जताया था। उनका कहना था कि ट्रंप के प्रति वफादारी के कारण पटेल एजेंसी का इस्तेमाल राजनीतिक उद्देश्यों के लिए कर सकते हैं। हालांकि, रिपब्लिकन बहुमत वाली सीनेट ने उनके नाम पर मुहर लगा दी। पटेल ने पहले ही संकेत दिए हैं कि वह FBI में बड़े बदलाव करेंगे, जिसमें वाशिंगटन मुख्यालय में कर्मचारियों की संख्या कम करना और अपराध से निपटने पर अधिक ध्यान देना शामिल है।
भारत में भी काश पटेल चर्चा में रहे हैं, खासकर जब उन्होंने अयोध्या में राम मंदिर निर्माण की प्रशंसा की थी और अमेरिकी मीडिया की आलोचना की थी। उनकी यह नियुक्ति भारतीय मूल के लोगों के लिए गर्व का विषय मानी जा रही है।